बेटी अमरीका में फंसी और केंद्रीय मंत्रालय नींद में, शहर में सियासत

बिलासपुर. शहर की बेटी निधि आठ माह से अमेरीकी ससुराल में बिना वीजा के चार साल के बच्चे साकेत के साथ फंसी है और केन्द्रीय मंत्रालयों के कान में जूं नहीं रेंग रही है। उल्टे शहर में इस मामले को लेकर अमर समर्थक और जोगी कांग्रेस की सियासत होने लगी है। इस मामले की विस्तार से छानबीन OMG NEWS NETWORK ने अपने दिल्ली कार्यालय से कराई है।
बिलासपुर स्थित महामाया नगर निवासी बैंक कर्मी वीएन राव की बेटी निधि का विवाह विशाखापट्नम के डी रविशंकर के साथ हुआ था। शादी के बाद पूरा परिवार अमरीका के बाल्टीमोर शहर में रहने लगा। पति रविशंकर ग्रीनकार्डधारक और मल्टीनेशनल कंपनी में कार्यरत हैं। चार साल बाद पुत्र साकेत के जन्म के बाद दोनों में अनबन रहने लगी। तब पिता, अपनी बेटी निधि को वापस शहर ले आए। लेकिन एक साल बाद पति रविशंकर के पास पुत्र के साथ वे गई तो पति ने वीजा नवीनीकरण नहीं कराया। उल्टे घर से निकाल दिया। मामले को लेकर पति न्यूजर्सी समरसेट स्थित सुपिरियर कोर्ट चले गए । वहां से 9 जून 2017 को ईमेल पर आदेश हो गया कि शहर की बेटी निधि और उसका बेटा साकेत अमेरीका छोडक़र नहीं जा सकते। तब से आठ माह से बिना वीजा के निधि दर-दर की ठोकरें खा रहीं हैं, उनकी नौकरी भी छूट चुकी है। कोर्ट के आदेश के बाद उसका पासपोर्ट,वीजा जब्त किया जा चुका है। इधर शहर निवासी और निधि के पिता श्री राव ने प्रधानमंत्री कार्यालय, विदेश मंत्रालय, महिला आयोग से गुहार लगाई है पर कोई ठोस हल नहीं निकल सका है।
ये है मुद़दा
केन्द्र की सरकार बनाने से पहले भाजपा ने 2014 का चुनाव लड़ा जिसमें महिलाओं की सुरक्षा भी एक मुद़दा था। लेकिन मोदी सरकार बनने के बाद नेशनल क्राइम ब्यूरो के आंकड़े बताते हंै कि देश और विदेश में महिला हिंसा में इजाफा हो रहा है। ये भी सही है कि विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने चाहे लुधियाना की कुलदीप कौर का या फिर सउदीअरब में धोखाधड़ी की शिकार हैदराबाद की महिला का मामला सामने आने पर संज्ञान लिया और दूतावास हरकत में आए हैं।
क्या कहता है कानून
प्रवासी भारतीयों के वैवाहिक मामले में विदेश मंत्रालय एक गाईड लाइन बनी है जिसके अध्याय 10 में अपराध की श्रेणियों केे बारे में उल्लेख है। इसमें शारीरिक, मानसिक, मौद्रीक, यौन दुरूपयोग अपराध माने गए हैं। इसके लिए भारतीय महिलाएं सीधे हेल्प लाइन या आव्रजन अधिकारी से सम्पर्क कर सकती हैं। यूएस में घरेलू हिंसा के लिए 1994 की वीएडडब्ल्यूए अधिनियम तहत मदद की जा सकती है। लेकिन तमाम नियम कानून होने के बाद भी निधि को विधिक सहायता नहीं मिल सकी।
होने लगी शहर में सियासत
भाजपा सरकार में शहरी मंत्री अमर अग्रवाल के समक्ष रविवार को फेसबुक लाइव के दौरान यह मामला सामने आया। तब उन्होंने निधि को वापस लाने का अश्वासन उनके परिजनों को दे दिया। इसको देखते हुए जोगी कांग्रेस ने इसको लेकर पूर्व विधायक धर्मजीत क ी अगुवाई में राष्ट्रपति के नाम कलेक्टर, एसपी को ज्ञापन देकर अमेरिका से निधि और उसके बेटे को शहर में वापस लाने की मांग की है।

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